अदरक की खेती
अदरक की खेती

मसालों में अदरक का महत्व काफी अधिक है। चाहे सब्जी हो या नमकीन व्यंजन, आचार या भी चटनी अदरक जरूर शामिल होता है। इतना ही नहीं, अदरक के बिना चाय अधूरा माना जाता है। खासकर, ठंड के दिनों में तो बिना अदरक के चाय पीना मुश्किल होता है। तो आइए आज जानते हैं कि इतनी महत्व की अदरक की खेती आखिर कैसे होती है-
जैसा कि आप जानते हैं कि अदरक की मांग आजकल पूरे वर्षभर होती है, इसलिए किसान भी इसकी खेती की ओर ज्यादा उन्मुख होते हैं। क्योंकि  सर्दी, ख़ासी, ज़ुकाम सहित तमाम बीमारियों में अदरक औषधि के रूप में काम आती है। इसमें प्रोटीन,वसा, कार्बोहाईड्रेट, तथा थायमिन,रिबोफ्लेविन, निकोटीन अम्ल, विटामिन ए और सी भरपूर होता है। साथ ही अदरक को सुखा कर सोंठ बनाया जाता है।

अदरक गर्म जलवायु का पौधा है। इसलिए कम वर्षा वाले क्षेत्रों में भी इसकी खेती की जा सकती है। दोमट, रेतीली भूमि सर्वोत्तम होती है। लेकिन इसमें पानी निकासी के लिए समुचित व्यवस्था होनी चाहिए। साथ ही अदरक की खेती रेतीली, चिकनी दोमट, लाल दोमट में भी की जा सकती है। इसके लिए आपको खेत की अच्छी तरह जुताई कर समतल कर लेना होगा। इससे मिट्टी भुरभुरा हो जाएगा। अदरक की बोआई के लिए अप्रैल और मई महीना सबसे उपयुक्त होता है। अदरक की खेती के लिए आप एक निश्चित दूरी पर इसके बीज लगा सकते हैं। ताकि फसल का उत्पादन ज्यादा से ज्यादा हो सके